उज्जैन । मंदिर का एक पूर्व कर्मचारी बृजमोहन वाजपेई की उम्र 55 हो चुकी है जिसके चलते नई सुरक्षा एजेंसी द्वारा इसे नौकरी पर नियम के विरुद्ध नहीं रखा गया ,तो पत्रकारों को मंदिर के विरोध में भ्रमित व गलत जानकारी देने लगा ।
जब इस संदर्भ में हमारी चर्चा मंदिर में तैनात कर्मचारियों से हुई ,तब बताया बृजमोहन वाजपेई की उम्र 55वर्ष से ऊपर जा रही है और इतनी उम्र वालों को मंदिर में रखना कंपनी नियम के विरुद्ध है ,
बृजमोहन बाजपेई अपने आप को पत्रकार मानता है जबकि वो 8वी पास है,उसकी पढ़ाई लिखाई इतनी भी नहीं है कि वह पत्रकार बन जाए, उसके बाद भी खुद को पत्रकार बताने का मामला भी सामने आया है जबकि उज्जैन के पत्रकार संगठन में बृजमोहन वाजपेई का नाम कहीं भी दर्ज नहीं है पत्रकारों के साथ घूमने से पत्रकार नहीं हो जाते हैं ऐसा ही मामला ब्रजमोहन वाजपेई के ऊपर लागू होता है।
हमेशा ब्रजमोहन मंदिर के खिलाफ झूठी शिकायत पत्रकार को देने में पहचाना जाता है जब पत्रकार के पास बृजमोहन बाजपेई जाकर कुछ खबरें बताता है तब कुछ पत्रकार इसको तथ्य लाने का बोलते हैं मगर तथ्य उपलब्ध कराने में असफल रहता है इससे स्पष्ट होता है सिर्फ और सिर्फ भ्रमित जानकारी देने के अलावा वाजपेई को कुछ नहीं आता है ।
अति विश्वसनीय सूत्रों से पता चला है उज्जैन जिलाधीश शशांक मिश्र के पास भी बृजमोहन वाजपेई की शिकायत कई बार पहुंच चुकी है और इसकी इस प्रकार की हरकत से जिलाधीश को अवगत कराया गया है यदि भ्रमित जानकारी बृजमोहन वाजपेई के द्वारा दी जाती हैं तो निश्चित रूप से प्रशासन इसके ऊपर कारवाई करने से जरा भी संकोच नहीं करेगा।
अब ब्रजमोहन वाजपेई किसी पत्रकार से मंदिर के अधिकारियों पर पुराने कर्मचारियों का प्रेशर बना कर नौकरी लेने के चक्कर में है जबकि इसको नौकरी पर रखना नियम के विरुद्ध है।
अति विश्वसनीय सूत्रों से जानकारी मिली है बीएचएस कंपनी में मंदिर में ही नौकरी करता था उसके बाद ईगल सिक्योरिटी में गार्ड के पद पर था जब से ही आए दिन दर्शनार्थियों से अभद्रता, गाली गलौज, मंदिर विरोधी बाते व भस्मार्ती परमीशन करने का मामला भी सामने आया था जब इस प्रकार की शिकायत मंदिर प्रशासक को मिली तो वाजपेई को तुरंत विक्रम कीर्ति मंदिर भेजा गया उस स्थान पर भी वाजपेई विवादित हालत में देखा गया ।सुरक्षा गार्ड से बाहर होने के बाद भी मंदिर प्रशासन पर नियम के विरुद्ध नौकरी पर लगने का प्रेशर बना रहा है। इसके चलते पत्रकारों को भ्रमित जानकारी वाजपेई द्वारा लगातार दी जा रही है।
लाइट बंद होने की भी भ्रमित जानकारी।
महाकाल मंदिर में कभी भी ऐसा नहीं हुआ कि बिजली के जाने पर मोबाइल की लाइट से दर्शनार्थियों को दर्शन कराएं जबकि पहले से ही आपातकाल परिस्थिति को देखते हुए मंदिर प्रशासन की तरफ से मंदिर में के चारों तरफ लाइट को लेकर इनवर्टर और जनरेटर की व्यवस्था की गई है जैसे ही बिजली जाती है पलक झपकते वापस बिजली आ जाती है ऐसी व्यवस्था महाकाल प्रशासन द्वारा की गई है लेकिन कुछ ऐसी खबरें आ रही है मंदिर में बिजली जाने की वजह से मोबाइल की टॉर्च जलाकर दर्शन कराए जा रहे हैं जो कि गलत है क्योंकि बड़े बड़े मंदिर में जनरेटर और इनवर्टर लगे होने के कारण मोबाइल की लाइट से क्यों दर्शन करेंगे?
फोटो को लेकर भी गलत जानकारी दी थी वाजपेई में।
नियम के विरुद्ध नौकरी पर नहीं रखा वाजपेई को तो मंदिर के खिलाफ नेगेटिव खबरें जो कि गलत होती है पत्रकारों को देता है ऐसा ही एक मामला पूर्व में आया था इसके द्वारा बताया गया था महिला सिक्योरिटी द्वारा बाबा महाकाल का फोटो रिक्शा के पहिया के नीचे फेंक कर अपमान किया गया जबकि ऐसा कुछ भी मामला नहीं था किसी दुकानदार के द्वारा इस प्रकार की हरकत की गई थी जिसका वीडियो भी वायरल हुआ था लेकिन वाजपेई द्वारा पत्रकारों को जानकारी में महिला सिक्योरिटी को फेंकना बताया था जो कि गलत है।
वाजपेई की हरकत का ऑडियो वायरल।
अब मैं एक ऑडियो से सभी को अवगत समाचार के माध्यम से करवाने जा रहा हूं इस ऑडियो में एक आवाज बृजमोहन वाजपेई की है तो दूसरी आवाज मंदिर का कोई पूर्व कर्मचारी है दोनों इस प्रकार से बातें सिक्योरिटी कंपनी को लेकर कर रहे हैं आप स्वयं सुने।